राष्ट्रीय (21/11/2014) 
जन्म से पूर्व लिंग परीक्षण पर छह लैब नपी
नई दिल्ली। प्रसव से पहले भूर्ण जाँच के खिलाफ सख्त कार्यवाही करते हुए तीन (पीसी एंड पीएनडीटी अधिनियम 1994) के अनुसार तीन ऐसी लैब के मालिकों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गयी है जो जन्म से पूर्व भूर्ण जांच किया करते थे इसके अलावा तीन लैब मालिकों के खिलाफ कारन बताओ नोटिस जारी किया गया है। यह कदम पीसी एंड पीएनडीटी अधिनियम 1994 के तहत गठित उत्तरी दिल्ली सलाहकार समिति के द्वारा उठाया गया। प्रसव पूर्व जांच तकनीक अधिनियम सन 1994 में भारतीय संसद द्वारा बनाया गया था जिसका उद्देश्य भारत में गिरते लिंग अनुपात के अलावा भूर्ण हत्या पर अंकुश लगाना है। समिति ने जिन तीन लैब के खिलाफ मामला दर्ज कराया है वह लैब जहागीर पूरी, बख्तावरपुर और नरेला में स्थित है जबकि मॉडल टाउन इलाका और अलीपुर इलाके में स्थित तीन लैब के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। भारत में लगातार लड़कों की तुलना में लड़कियों का जन्म अनुपात लगातार घट रहा था जिस वजह से इस कानून को बनाने की जरूरत महसूस की गयी थी।  
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