राष्ट्रीय (16/05/2015) 
​​भूख हड़ताल पर बैठे दो श्रमिकों की हालत बिगड़ी
जांच के बाद चिकित्सकों ने सामान्य अस्पताल में कराया दाखिल
सचिवालय के सामने 5 दिनों से बैठे थे भूख हड़ताल पर
हालत बिगडऩे के बाद दो नए क्षमिक भूख हड़ताल पर बैठे
लगातार 40 दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे हैं श्रमिक
5 माह से अधर में लटका है मामला
कुंभकर्णी नींद सो रहा है प्रशासन
76 श्रमिकों को कंपनी से निकालने का है मामला
रेवाड़ी। रेवाड़ी जिला सचिवालय के बाहर पिछले 5 दिनों से भूख हड़ताल से बैठे मुजाल आटो कंपनी के दो श्रमिकों की हालत बिगड़ गई। बीती शाम चिकित्सकों के एक दल ने मौके पर जाकर दोनों श्रमिकों के स्वास्थ्य की जांच की। हालत बिगड़ती देख चिकित्सकों ने दोनों श्रमिकों को तुरंत सामान्य अस्पताल में दाखिल कराया। इसके बाद दो नए श्रमिक भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं। 
हम आपको बता दें कि भूख हड़ताल पर बैठे ये श्रमिक पिछले 40 दिनों से अपनी मांगों को लेकर लगातार धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन जब प्रशासन ने उनकी मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया तो 5 दिन पहले आखिरकार इन श्रमिकों ने जिला सचिवालय के सामने भूख हड़ताल शुरू कर दी। इन्हें प्रशासन व श्रम विभाग से लगातार आश्वासन का लालीपाप ही मिलता रहा, लेकिन कंपनी प्रबंधन से लेकर श्रम विभाग व प्रशासन के आला अधिकारियों ने कभी गंभीरता से इन श्रमिकों की मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया।
भूख हड़ताल पर बैठे इन श्रमिकों का कसूर मात्र इतना था कि इन्होंने कंपनी में अन्य श्रमिकों की मांगों को प्रमुखता से उठाया था। अब कंपनी प्रबंधन ने इन्हें ही बाहर का रास्ता दिखा दिया। जब इन्हें लगा कि श्रम विभाग व प्रशासन बजाय कंपनी प्रबंधकों से कोई बात करने के इन्हें ही दबाने का प्रयास कर रहा है तो इन्होंने भूख हड़ताल का सहारा लिया।
ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि अब भी प्रशासन नहीं चेता तो कभी भी यह मामला कोई बड़ी चिंगारी में बदल सकता है। अब देखना यह होगा कि क्या प्रशासन व श्रम विभाग इन श्रमिकों को न्याय दिलवा पाएगा या फिर पहले की तरह इस मामले को भी ठंडे बस्ते में डाल दिया जाएगा।
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